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प्रेरणा : परीक्षा मे कम अंक पाने वाले या फेल होने वाले छात्रों को प्रेरित करने आईएएस अवनीश शरण ने अपनी 10 वीं की थर्ड डिवीजन की मार्कशीट शेयर करते हुए कहा – ” यह एक नंबर गेम है। आपको अपने कैलिबर को साबित करने के कई और मौके मिलेंगे ….. हमें एक जिंदगी मिलती है और जितना हो सके अच्छे काम करते रहना चाहिए।” आइए जानते हैं उनके और प्रेरणादायक विचार और जीवन से जुड़ी अन्य बातें ..

रायपुर । वर्तमान भारत ।

छत्तीसगढ़ राज्य के IAS अफसर अवनीश शरण अक्सर यूथ को मोटिवेट करते हैं। इसी क्रम में उन्होंने अपनी 10वीं की मार्कशीट ट्वीटर पर पोस्ट की। अब इसमें लिखे नंबर्स को देखकर UPSC की तैयारी करने वाले युवा मोटिवेट हो रहे हैं। कुछ ने तो तैयारी छोड़ दी थी वो अब अवनीश शरण की मार्कशीट देखकर दोबारा तैयारी करने का मन बना रहे हैं।

हताश और निराश छात्रों को संदेश देने मार्कशीट किया पोस्ट

कई बार ऐसा होता है कि परीक्षा में हम सफल नहीं हो पाते हैं या उम्मीद से बहुत ही कम अंक आते हैं। ऐसे में युवा पूरी तरह से निराश और हताश हो जाते हैं। IAS अवनीश ने ऐसे ही लोगों को संदेश देने अपने मार्कशीट पोस्ट की है।

विदित हो कि 2009 बैच के आईएएस अधिकारी अवनीश शरण ने 10वीं की परीक्षा थर्ड डिवीजन से पास की। उन्होंने बिहार स्कूल एग्ज़ामिनेशन बोर्ड की यह परीक्षा 314/700 अंकों (थर्ड डिवीज़न) के साथ 1996 में पास की थी। एक ट्विटर यूज़र ने इसे ‘प्रेरणादायक’ बताया और एक ने कमेंट किया, “सर डिग्री तो सिर्फ एक कागज़ का टुकड़ा है और कुछ नहीं. इस पोस्ट को कई लोगों ने बहुत ही ज्यादा पसंद किया है।इस पोस्ट से प्रेरित होकर एक यूज़र ने कमेंट करते हुए लिखा है कि सर आप विश्वास नहीं करेंगे, मुझे भी 314 अंक प्राप्त हुए थे, मगर मैंने अपनी यूपीएससी की तैयारी छोड़ दी, मगर आपके मार्क्स देखकर मैं काफी प्रभावित हुआ मैं फिर से तैयारी करूंगा।इस ट्वीट का रिप्लाई करते हुए अधिकारी अवनीश शरण ने बधाई दी है। उन्होंने संदेश दिया कि कई बार हमें कम अंक मिलते हैं, इसका मतलब ये नहीं कि हम अपनी तैयारी छोड़ दें। लक्ष्य की प्राप्ति के लिए हमें हमेशा मेहनत करते रहना चाहिए।

मार्कशीट पर आए कई तरह के रिएक्शन

अफसर की मार्कशीट पर कई तरह के रिएक्शन आए ।जब एक यूजर ने अवनीश शरण की मार्कशीट पर कमेंट करते हुए पूछा – इस मार्कशीट के साथ घर जाने पर क्या हुआ था, तब जवाब में IAS अवनीश ने लिखा- जैसा ‘स्वाभाविक’ था, वैसा कुछ नहीं हुआ। पापा ने दोबारा 10वीं की परीक्षा देने कहा, जिसे मैंने मना कर दिया। मैंने उनसे यह आग्रह किया कि मेरे मार्क्स किसी को ना बताएं। किसी के पूछने पर बस इतना बताएं कि ‘पास कर गया है।

मार्कशीट दिखाने की वजह सुसाइड

तीन साल पहले छत्तीसगढ़ बोर्ड परीक्षा के परिणाम आने के बाद फेल होने पर रायगढ़ में 18 वर्षीय एक छात्र ने आत्महत्या कर ली थी। छात्र की आत्महत्या की खबर पढ़कर अवनीश शरण ने तब फेसबुक पर लिखा – “आज मैंने अखबार में एक चौंकाने वाली खबर पढ़ी कि एक छात्र ने परीक्षा में फेल हो जाने के कारण आत्महत्या कर ली। मैं सभी छात्रों और उनके माता-पिता से अपील करता हूं कि वे परिणाम को गंभीरता से न लें। यह एक नंबर गेम है। आपको अपने कैलिबर को साबित करने के कई और मौके मिलेंगे। छात्रों को मोटिवेट करने के लिए मार्कशीट को किया शेयर छात्रों को मोटिवेट करने के उद्देश्य से आईएएस अफसर ने अपनी कक्षा 10वीं और कक्षा 12वीं की बोर्ड परीक्षाओं, कॉलेज के नंबर भी फेसबुक पर शेयर किए। उन्होंने कक्षा 10वीं में 44.5 फीसदी, 12वीं की परीक्षा में 65 % और स्नातक में 60.7 % नंबर हासिल किए थे। अफसर ने अपने संदेश में यह भी बताया है कि उन्होंने 10वीं की परीक्षा 1996 में, 12वीं की परीक्षा 1998 और स्नातक की डिग्री साल 2002 में पूरी की थी। भले ही अवनीश कुमार शरण के नंबर कम आए हों, लेकिन उन्होंने यूपीएससी परीक्षा पास कर दिखा दिया कि काबिलियत नंबर देखकर नहीं मापी जा सकती।

अवनीश शरण का संघर्षमय जीवन

यहां यह उल्लेखनीय है कि आईएएस अधिकारी अवनीश शरण का जीवन संघर्षों से भरा रहा है। उन्होंने एक इंटरव्यू में बताया था कि उनके घर में बिजली की सुविधा नहीं थी, इसलिए उन्हें लालटेन की रोशनी में पढ़ाई की थी। मूल रूप से बिहार के समस्तीपुर जिले के केवटा गांव के रहने वाले आईएएस अवनीश के पिता और दादाजी भी शिक्षक थे। अवनीश कहते हैं कि हमें एक जिंदगी मिलती है और जितना हो सके अच्छे काम करते रहने चाहिए।