Event More News

संबलपुरी गौठान से गायों की शिफ्टिंग का मामला गरमाया..आख़िर गई तो कहाँ गईं गायें..?

रायगढ़ । वर्तमान भारत ।

रितेश सिदार की रिपोर्ट

संबलपुरी गौठान से गुरुवार की रात तकरीबन 350 गायों को लैलूंगा शिफ्ट करने का मामला गरमाता जा रहा है क्योंकि गौठान संचालन समिति का यह आरोप है कि उन्हें बिना सूचना दिए अचानक यह कार्य किया गया और इसमें से 140 से160 गाय वापस आ चुकी है लेकिन बाकी की गायें अब तक लैलूंगा गौठान में पहुंची ही नहीं है तो आख़िर बाकी की गायें गई कहाँ??वहीं नगर निगम कर्मचारी मुन्ना ओझा व प्रदीप तिवारी का कहना है कि कलेक्टर रानू साहू,निगम कमिश्नर संबित मिश्रा और ललूँगा सीईओ के आदेश से यह शिफ्टिंग की गई है।इसलिए समिति संचालक शिव कुमार साहू द्वारा कलेक्टर,जिला प्रशासन, नगर निगम आयुक्त,चक्रधर थाना,पुलिस अधीक्षक, पशु विभाग को इसकी जनकारी पत्र और मौखिक रूप से दिया गया है। गोठान का संचालन नगर निगम रायगढ़ द्रारा गौ माता मित्र समिति को दिया गया है इसमें शासकीय और निगम के तरफ किसी प्रकार की आर्थिक अनुदान तक नहीं दी जा रही है और गो मूत्र तक की खरीददारी नहीं की जा रही है लिहाज़ा समिति द्वारा गायों के चारे की पर्याप्त व्यवस्था नहीं हो पा रही है। निगम की मानें तो यही वजह है कि जब संबलपुरी गौठान में व्यवस्था ही नहीं है इसलिए गायों को शिफ्ट किया गया है।

नहीं दर्ज हुई एफआईआर:-इस संबंध में चक्रधरनगर थाने पहुंचे गौ समिति के सदस्यों द्वारा की गई लिखित शिकायत पर एफआईआर दर्ज नहीं की गई क्योंकि थाना प्रभारी का यह कहना है कि यह शिफ्टिंग सहमति पत्र,अधिकारियों के निर्देश पर की गई है।लिहाज़ा इस कार्य पर एफआईआर नहीं की जा सकती।

जवाब मांगने पहुंचे गौ सेवा समिति के सदस्य

आज नगर निगम में गौ सेवा से जुड़े लोग,जनप्रतिनिधि व
गौ माता मित्र समिति की अध्यक्ष पूनम द्विवेदी अपने साथियों के साथ पहुंचे जहां महापौर जानकी काट्जू से आधी रात बिना सूचना दिए गायों को शिफ्ट करने की वजह और निकाली गई सभी गायों की जानकारी मांगी गई और कहा गया कि जल्द ही सभी गायों वर्तमान स्थिति के बारे में उन्हें लिखित में जवाब दिया जाए। जिस पर महापौर द्वारा आश्वस्त किया गया कि उन्हें जल्द ही इस बारे में जानकारी उपलब्ध कराई जाएगी।

क्या कहते हैं गौठान संचालक


गौ मित्र समिति के संचालक शिव राज साहू ने बताया की अचानक निगम कर्मचारी उप अभियता मुन्ना ओझा एवं प्रदीप तिवारी द्वारा रात को दो से तीन बजे संबलपुरी गोठान से लगभग 350 मवेशियों को बाहर निकलवाया गया जिसमे लैलूंगा के सिओ की मौजूदगी मे करीब दस व्यक्ति जो की लैलूंगा से आए थे उनकी सहायता से सभी मवेशियों को बाहर निकाल दिया गया और लैलूंगा की तरफ हाक कर ले जाने लगे
निगम ने समिति को बिना सूचित करे यह कार्य किया है व कुछ गायों को जगल मे छोड़ दिया गया है और लैलूंगा गौठनों में यहां से निकाली गई गायें पहुंची नहीं है।

क्या कहती हैं महापौर

महापौर जानकी काट्जू का कहना है कि संचालन समिति द्वारा कई बार पशुओं के लिए पर्याप्त चारे की व्यवस्था में कमी की बात की गई है लिहाज़ा संबलपुरी गौठान से सभी गायों को लैलूंगा में शिफ्ट किया गया है।अगर गायें लैलूंगा नहीं पहुंची हैं तो इस संबंध में सारी जानकारी प्राप्त कर सूचित किया जाएगा और यह भी पता लगाया जाएगा कि मामला पशु तस्करी से जुड़ा हुआ तो नहीं।

बहरहाल ये जवाब फ़िलहाल किसी के पास नहीं है कि आखिर वो गायें गई कहाँ..?और यदि उनको लैलूंगा शिफ्ट किया जा रहा था तो 150 गायें जंगलों से वापस कैसे आ गईं.?निगम कमिश्नर के पास भी इस संबंध में पूछे गये सवालों का कोई जवाब नहीं था। विगत माह पूर्व भी 46 गायों के शिफ्टिंग की जानकारी सामने आ रही है जिनका अब तक कोई अता पता नहीं मिल सका है।