विकास की बाट जोहता ग्राम पंचायत आमाटोली ….आखिर कहां जाता है ग्राम पंचायत को आबंटित राशि ???
रिपोर्ट : प्रद्युमन पैकरा
सरगुजा जिले के जनपद पंचायत सीतापुर में स्थित ग्राम पंचायत आमाटोली इन दिनों भ्रष्टाचार का गढ़ बना हुआ । एक ओर यहां के निवासी सड़क , बिजली जैसी बुनियादी जरूरतों से जूझ रहे है तो दूसरी ओर “जिम्मेदार” कान में तेल डालकर कुंभकरण की नींद सो रहे हैं । ये तो भला हो नगर पंचायत सीतापुर का ,जिसके द्वारा किए गए कार्यों के आवरण से ग्राम पंचायत की आबरू बची हुई है।
दरअसल नगर पंचायत सीतापुर और ग्राम पंचायत आमाटोली को एक दूसरे से एक सड़क अलग करती है। सड़क की एक और नगर पंचायत है तो दूसरी ओर ग्राम पंचायत । एक असंबद्ध व्यक्ति के लिए नगर पंचायत और ग्राम पंचायत की सीमा रेखा को जान पाना लगभग असम्भव सा है और इसी का फायदा ग्राम पंचायत के ” जिम्मेदार ” उठा रहे हैं। नगर पंचायत के द्वारा ही ग्राम पंचायत में भी स्ट्रीट लाइट की व्यवस्था की गई है। ग्राम पंचायत क्षेत्र में साफ – सफाई भी नगर पंचायत द्वारा ही किया जाता है। सामान्य परिस्थितियों में साफ – सफाई और स्ट्रीट लाइट पाकर एक आम आदमी का ध्यान ग्राम पंचायत की कारगुजारियों की ओर नही जाता ,लेकिन बरसात के कारण कीचड़ और फिसलन से भरे रास्तों ने आज सभी रहवासियों का ध्यान ग्राम पंचायत की ओर मोड़ दिया है – खास तौर पर मुख्य सड़क से रेयांस हॉस्पिटल तक के पहुंच मार्ग ने! यह सड़क अभी पिछले साल ही बनी थी मगर बरसात की बूंदों को पड़ते ही यह सड़क चीख – चीख कर भ्रष्टाचार की अपनी कहानी सुनाने लगी है।
ग्राम पंचायत आमाटोली विगत कुछ वर्षों से बदहाली की दौर से गुजर रहा है। सरपंच – सचिव द्वारा ग्राम पंचायत के विकास पर थोड़ा भी ध्यान नहीं दिया जा रहा , ऊपर से बरसात ने पंचायत की हालत बद से बदतर कर दिया है।पंचायत की सड़कों पर चलना दुभर हो गया है। ऐसी स्थिति में लोगों के बीच यह चर्चा अब जोर पकड़ने लगी है कि ग्राम पंचायत को शासन से प्राप्त आबंटन का सरपंच – सचिव द्वारा बंदरबांट किया जा रहा है।पंचायत द्वारा लोगों के हितों का ध्यान नही दिया जा रहा है और चंद लोग मिलकर पंचायत की राशि से अपनी झोली भरने में लगे हुए हैं।