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एसईसीएल बुड़बुड़ खदान अधिकारियों- कर्मचारियों की मिलीभगत से ओवरलोड कर कोयले की चोरी, विभागीय तौल कांटा से रोजाना हो रहा लाखों का कोयला पार

आशीष यादव की रिपोर्ट


कोरबा/पाली:- जिले के पाली क्षेत्र में स्थित एसईसीएल की सराईपाली परियोजना अंतर्गत बुड़बुड़ खदान से ओवरलोड के जरिये प्रति ट्रेलर भार क्षमता के अलावा लगभग 1 टन से अधिक अवैध कोयला लोड कर चोरी का खेल पिछले लंबे समय से खदान अधिकारियों- कर्मचारियों की मिलीभगत से चल रहा है। कार्यवाही के अभाव में जिस चोरी पर लगाम नही लग पा रहा।

सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार बुड़बुड़ खदान से कोयला लेकर निकलने वाले ट्रेलरों को एसईसीएल के विभागीय कांटा से तौल करवाकर खदान से बाहर निकलना रहता है। जिसमे चोरी करने की नायाब तरीका के तहत कोयला लोड मालवाहको में भाड़ा पर्ची में अंकित भार क्षमता से करीबन 1 टन से भी अधिक अतिरिक्त कोयला लोड करवा खदान से बाहर भेजा जाता है। उक्त मामले में कोयला चोरों से खदान अधिकारियों- कर्मचारियों की मिलीभगत की बात बतायी जा रही है। सूत्रों के मुताबित उक्त खदान में वर्तमान लगभग 150 मालवाहक वाहने कोयला परिवहन के लिए लगती है। बताया जा रहा कि एक ट्रेलर की भार क्षमता औसतन 39 टन रहती है, किंतु इस क्षमता के अतिरिक्त 1 टन से अधिक कोयला मालवाहकों में लोड कराया जाता है। जबकि विभागीय तौल कांटा से भाड़ा पर्ची में अंकित भार होना बताकर वाहन गंतव्य की ओर रवाना कर दिया जाता है। इस हिसाब से यदि देखा जाए तो रोजाना सैकड़ों टन कोयला खदान भीतर से बेरोक- टोक कोल माफियाओं तक जा रहा है। जिसकी कीमत लाखों में आंकी जा सकती है। बुड़बुड़ खदान से प्रतिदिन लाखों के कोयले की हो रही हेराफरी मामले में खदान अधिकारियों- कर्मचारियों की संलिप्तता से इंकार नही किया जा सकता, क्योंकि बिना मिलीभगत यह कार्य संभव नही। इस खेल में पृथक- पृथक रूप से कितनी- कितनी माहवारी किस- किस तक पहुँच रही है यह बता पाना तो मुमकिन नही, लेकिन उक्त चोरी से एसईसीएल को भारी क्षति पहुँचाते हुए संलिप्त लोग मालामाल हो रहे है। एसईसीएल सराईपाली परियोजना के शीर्ष अफसर इस ओर गंभीरता से संज्ञान लेकर बुड़बुड़ में कार्यरत अधिकारियों- कर्मचारियों पर लगाम कसते हुए इस चोरी के खेल पर रोक लगाएं, नही तो यह खेल निर्बाध जारी रहेगा।