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छत्तीसगढ़ स्थापना दिवस 2022 : छत्तीसगढ़ के 22 वें स्थापना दिवस…छत्तीसगढ़ राज्य निर्माण के पीछे पूरी कहानी क्या है…छत्तीसगढ़ नाम क्यों पड़ा?…जाने पूरी जानकारी

रायपुर । वर्तमान भारत ।

गजाधर पैकरा की विशेष रिपोर्ट

मध्य प्रदेश अलग होकर छत्तीसगढ़ राज्य को बने 1 नवंबर 2022 को 22 साल पूरे हो रहे हैं। छत्तीसगढ़ में राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर हर साल राज्य उत्सव का आयोजन किया जाता है ।इस बार राज्योत्सव के साथ अंतरराष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव का आयोजन भी किया जा रहा है। राज्य में राष्ट्रीय आदिवासी महोत्सव का यह तीसरा आयोजन है ।राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव के लिए देश के सभी राज्यों, केंद्र शासित प्रदेशों सहित 9 देशों की 1500 आदिवासी कलाकार अपनी कला का प्रदर्शन करेंगे। इन कलाकारों में देश की 1400 और विदेशों के 100 प्रतिभागी शामिल होंगे।इस आयोजन में अपनी कला का बेहतर प्रदर्शन करने वाले कलाकारों को लाखों के ईनामों से नवाजे जाएंगे।

एक नजर छत्तीसगढ़ के बारे में

छत्तीसगढ़ भारत का एकमात्र राज्य है। जिसे महतारी (मां) का दर्जा हासिल है। अलग-अलग संस्कृतियों का केंद्र रहा छत्तीसगढ़ आज भी अपने प्राचीन मंदिरों के लिए पूरी दुनिया भर में प्रसिद्ध है। प्राचीन भारत के दौर से ही भारत को गौरवान्वित करने के बाद आज भी छत्तीसगढ़ अपने प्राकृतिक सौंदर्य के लिए दुनिया भर में जाना जाता है। 1 नवंबर 2000 को छत्तीसगढ़ अस्तित्व में आया था। साल 2000 में जुलाई में लोकसभा और अगस्त में राज्यसभा में छत्तीसगढ़ राज्य निर्माण के प्रस्ताव पर मुहर लगी थी। जिसके बाद 4 सितंबर 2000 को भारत सरकार की राजपत्र में प्रकाशन के बाद 1 नवंबर 2000 को छत्तीसगढ़ देश के 26 वें राज्य के रूप में दर्ज हो गया ।इस इलाके की भाषा को छत्तीसगढ़ी कहा जाता है। छत्तीसगढ़ी के अलावा भी राज्य में माढ़िया ,हल्बी, गोंडी,लरिया ऐसी भाषा बोली जाती है।

छत्तीसगढ़ नाम क्यों पड़ा?

छत्तीसगढ़ नाम की इर्द-गिर्द कई कहानियां प्रचलित है। कहा जाता है कि करीब 300 साल पूर्व गोंड जनजाति के शासनकाल में यहां गोंड़ राजाओं के 36 किल थे ।जिनके आधार पर इसे छत्तीसगढ़ नाम दिया गया। कुछ इतिहासकारों के अनुसार कल्चुरी राजाओं द्वारा 36 किले (शिवनाथ नदी के उत्तर में कल्चुरियों की रतनपुर शाखा के 18 गढ़ और दक्षिण में रायपुर शाखा के 18 गढ़) को मिलाकर इसे छत्तीसगढ़ नाम दिया गया था ।इससे पूर्व इस पूरे क्षेत्र को कौशल राज के नाम से जाना जाता था।

रायपुर कैसे बना राजधानी

छत्तीसगढ़ प्रदेश की राजधानी रायपुर का इतिहास हजारों वर्ष प्राचीन है। आज रायपुर दुनिया में आकर्षण का केंद्र बन चुका है ।छत्तीसगढ़ के गठन के बाद इसकी राजधानी को लेकर काफी विचार-विमर्श हुआ। पहले बिलासपुर को राजधानी बनाए जाने का विचार किया गया ।क्योंकि बिलासपुर वर्तमान राजधानी से उस समय पर ज्यादा विकसित था ।लेकिन फिर काफी विचार के बाद रायपुर को छत्तीसगढ़ की राजधानी घोषित किया गया।

जिला मुख्यालयों में होंगे कार्यक्रम

राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर जिला स्तर पर स्थानीय कलाकारों की ओर से 1 नवंबर को एक दिवसीय सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन होगा ।कार्यक्रम में राज्य शासन के अलग-अलग विभागों की महत्वपूर्ण और सफल परियोजनाओं का प्रदर्शन किया जाएगा। साथ ही पिछले सालों की उपलब्धियों को प्रदर्शित व शासन की कल्याणकारी योजनाओं से हितग्राहियों को कार्यक्रम में लाभान्वित किए जाएंगे।