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कयाघाट शासकीय उचित मूल्य की दुकान संचालक की घोर लापरवाही हुई उजागर ,करीब 34 क्विंटल चावल मिला था गायब, राइस मिलों में खप रहा था चावल,खाद्य विभाग की कार्यवाही संचालक निलंबित

आशीष यादव की रिपोर्ट

रायगढ़। रायगढ़ जिले में पीडीएस दुकानों का चावल हितग्राहियों को न बांटकर बाहर बेचा जा रहा है। वार्ड 29 कयाघाट की शासकीय उचित मूल्य दुकान के संचालक को ऐसा करते रंगे हाथ पकड़ा गया था। खाद्य विभाग ने दुकान को निलंबित कर दिया लेकिन एफआईआर नहीं करवाई। बताया जा रहा है कि दुकान का चावल फिर से राइस मिलर के पास पहुंचाया जा रहा था। वहां से पुन: बोरा बदलकर जमा कर दिया जाता है।

कयाघाट पीडीएस दुकान में हुई गड़बड़ी ने पीडीएस सिस्टम पर सवाल उठाए हैं। दुकान संचालक कमलाकांत त्रिपाठी ने हितग्राहियों के चावल को खुले बाजार में बेचा। ऐसा करते समय ही शिकायत हो गई और खाद्य विभग ने कार्रवाई की। दुकान की संचालन एजेंसी सर्वेश्वरी प्राथमिक उपभोक्ता भंडार को निलंबित कर दिया गया है। दुकान में ऑटो को बुलाकर चावल लोड करवाया जा रहा था। खाद्य निरीक्षक ने दुकान में जांच की तो 33.98 क्विं. चावल, 0.59 क्विं. शक्कर और 4.70 क्विं. नमक कम पाया गया। मतलब यह सामग्री दुकान में नहीं मिली। इसे पहले ही बेचा जा चुका था। दुकान निलंबित करने के साथ एफआईआर का भी प्रावधान होता है। इस मामले में अभी तक अपराध दर्ज नहीं कराया गया है। अब इसमें राइस मिलरों की भी एंट्री हो गई है। बताया जा रहा है कि यह चावल वापस से राइस मिल में पहुंच रहा था।

एक ही चावल दो बार जमा


पीडीएस दुकानों और राइस मिलरों के बीच गठजोड़ से बड़े पैमाने पर घपला किया जा रहा है। पीएम गरीब कल्याण अन्न योजना और एपीएल कार्ड के कोटे का चावल ज्यादातर दुकानों में बच जाता है। यह चावल राइस मिलों में वापस पहुंचता है। इसके लिए कई बिचौलिए सक्रिय हैं। राइस मिलर डायरेक्ट किसी दुकान से संपर्क नहीं करता। बिचौलिया ही डील करके चावल पहुंचा देता है जो वापस से एफसीआई और नान के गोदाम में जमा हो जाता है।