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मनमानी:दो पंचायत सचिवों ने खुद बदल ली अपने काम करने की जगह…सरपंच पत्नी सचिव पति इसलिए 2 गांवों के विकास पर लगा ग्रहण…

पत्थलगांव । वर्तमान भारत ।

पत्थलगांव,जशपुर/छत्तीसगढ़ पंचायतों में सरपंच सचिवों की गड़बड़ी के मामले अक्सर सामने आते रहते हैं! लेकिन जब पत्नी सरपंच और पति सचिव हो तो अंदाजा लगाया जा सकता है गांव में कितना विकास हो रहा होगा! पत्थलगांव की दो पंचायतों में ऐसा ही अजीबोगरीब मामला सामने आया है पत्थलगांव की 2 पंचायतों में जनपद में पदस्थ दो सचिवों की पत्नी सरपंच पद पर आसीन हैं !दोनों सचिव ने पत्नी के पंचायत में जगह की अदला-बदली कर काम निपटा रहे हैं! इसका उल्लेख सरकारी दस्तावेजों में नहीं है !यह कारनामा दोनों सचिवों ने ही स्वयं मिलकर किया है !एक सचिव की पत्नी ग्राम पंचायत रोक बहार तो दूसरे की पत्नी खाड़ामाचा की सरपंच हैं! खाड़ामाचा सरपंच के सचिव पति ने रोक बहार में तो रोकबहार के सचिव पति खाड़ामाचा में रहकर काम निपटा रहे हैं !दोनों सरकारी दस्तावेजों का फायदा उठाकर रोकबहार के सरपंच का पति रोक बहार में ही सचिव के कामों को निपटा रहा है इसी तरह खाड़ामाचा की सरपंच का सचिव पति खाड़ामाचा की कामों को निपटा रहा है !कागजों पर दोनों सचिवों की पदस्थापना अलग-अलग जगह पर है !परंतु सरपंच पत्नियों का फायदा उठाकर दोनों सचिव अपनी धर्म पत्नियों की पंचायत में ही कार्यों का बंटवारा कर लिया है !अब दोनों ही पंचायत के ग्रामीण सरपंच एवं उनके सचिव पतियों की मनमानी से काफी परेशान हो चुके हैं! जिसके कारण इन पंचायतों के विकास को पूरी तरह ग्रहण लग चुका है!

14वें वित्त की राशि में लगा रहे बोगस बिल

ग्राम पंचायत में शासन की ओर से आने वाली 14वें वित्त की राशि ग्रामीण अर्थव्यवस्था में सुधार लाने के लिए ग्राम पंचायतों को भेजी जाती है परंतु इस राशि से सरपंच सचिव अपनी अर्थव्यवस्था सुधारने का काम कर रहे हैं यहां की अधिकांश पंचायतों में 14वें वित्त की राशि में फर्जी बिल लगाकर रुपया निकाले जा रहे हैं! ऐसे ही आहरण ग्राम पंचायत रोकबहार एवं खाड़ामाचा से भी होने की शिकायत मिल रही है! ब्लॉक की अधिकारियों का सचिव सरपंचों पर नियंत्रण ना रहने के कारण इन दिनों सरकारी योजनाओं के नाम पर आने वाले रुपयों की खुलकर बंदरबांट की जा रही है !यदि जिले में बैठे अधिकारी पंचायतों द्वारा आहरित 14वें वित्त की राशि की जांच कराते हैं तो गबन के अनेक मामले का खुलासा हो सकता है!!

कुछ सचिवों को नेताओं का संरक्षण

ग्राम पंचायत के सचिवों की मनमानी के पीछे कुछ नेताओं का हाथ होने की बात सामने आ रही है बताया जाता है कि कांग्रेस की सत्ता आने के बाद से ही जनपद पंचायत में सरकारी योजनाओं के तहत काम लेने के लिए कांग्रेसी नेताओं की लंबी फौज तैयार हो गई थी! यह नेता नुमा लोग सचिव सरपंचों को अपने पद का धौंस दिखाकर उनसे वैधानिक कार्य करा रहे हैं !यदि बिलों की आहरण की जांच होती है तो अनेक कांग्रेसी नेताओं के नाम से पंचायतों के बिल कटने का मामला उजागर होगा !बताया जाता है कि सचिव इन नेताओं की आड़ में खुद भी फर्जी बिलों का लेनदेन कर खुद को कार्यवाही के नाम से संरक्षित महसूस करते हैं !!

जांच के बाद की जाएगी कठोर कार्यवाही

प्रभार कहीं का लेकर काम कहीं और का सचिवों द्वारा किया जा रहा है तो इसकी जांच कर कठोर कार्यवाही की जाएगी !!
के.एस.मंडावी जिला पंचायत सीईओ जशपुर

🌀गजाधर पैंकरा की रिपोर्ट