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CG Breaking : भ्रष्ट अफसरों और कर्मचारियों की अब खैर नहीं… मुख्यमंत्री साय, सिंघम को बना रहे EOW चीफ…पढ़ें पूरी खबर



रायपुर :- छत्तीसगढ़ में भ्रष्ट अधिकारियों और कर्मचारियों की अब शामत आने वाली है। लगता है अब उनकी खैर नहीं। छत्तीसगढ़ भ्रष्टाचार के मामले में देश में कुख्यात हो गया है। छत्तीसगढ़ की ब्यूरोक्रेसी देश में सबसे भ्रष्ट ब्यूरोक्रेसी मानी जा रही है। आलम यह है कि छत्तीसगढ़ के दो डायरेक्ट आईएएस इस समय जेल में है। इसके बावजूद भ्रष्टाचार को लेकर न तो अफसरों में कोई खौफ है और न ही सरकारी स्तर पर नियंत्रण। मगर साफ-सुथरी छबि के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय 20 साल सांसद रहे। इतने लंबे संसदीय जीवन और तीन बार पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष रहने के बाद उनका सार्वजनिक जीवन बेदाग है। उनके मुख्यमंत्री बनने के बाद राजधानी के माफिया वर्ग में छटपटाहट है क्योंकि कोई दाल नहीं गल रही।

Chattisgarh EOW Chief Posting: छत्तीसगढ़ के सीएम विष्णुदेव साय ने कल शाम ईओडब्लू की पूरी टीम को बदल दी। लगभग डीआईजी के समतुल्य दो आईपीएस अफसरों के साथ 30 अधिकारियों की ईओडब्लू में नई पोस्टिंग की गई है। आजकल में चीफ की पोस्टिंग भी हो जाएगी।

ज्ञात हो कि, सीएम विष्णुदेव साय संभलकर काम कर रहे हैं मगर ठोस अंदाज में। कल उन्होंने ईओडब्लू की पूरी टीम बदलकर लोगों को चौंका दिया। इसके साथ ही 30 अफसरों की पोस्टिंग भी कर दी। बताते हैं, सीएम अब भ्रष्ट तंत्र पर लगाम लगाने का ब्लूपिं्रट तैयार कर लिए हैं। इसके लिए एक तेज-तर्रार आईपीएस अफसर को ईओडब्लू का चीफ बनाया जा रहा है। छत्तीसगढ़ का सिंघम कहा जाने वाले इस अफसर के नाम से गुंडा, बदमाश और माफिया कांपते हैं। ईओडब्लू मे ंचूकि कई हाई प्रोफाइल मामले इस समय दर्ज है। इनमें पीएससी से लेकर आबकारी, कोयला और राशन घोटाला शामिल है। इसके अलावा बढ़ते भ्रष्टाचार पर लगाम भी लगाना है।

इसलिए, केद्रीय जांच एजेंसी में रहे अफसर को इस प्रदेश की सबसे बड़ी जांच एजेंसी का मुखिया बनाया जा रहा है। इन मामलों की जांच-पड़ताल के साथ ही अब करप्शन के खिलाफ मुहिम छेड़ी जाएगी। पिछले पांच साल में सिर्फ एडीजी जीपी सिंह के यहां छापे पड़े। इसके अलावा किसी भी अफसर के यहां छापा नहीं डाला गया।

राजस्थान की तर्ज पर पावरफुल

अधिकारिक सूत्रों का कहना है कि छत्तीसगढ़ की ईओडब्लू, एसीबी को अब राजस्थान के ईओडब्लू की तरह ताकतवर और एक्टिव बनाया जाएगा। वहां की ईओडब्लू इतनी ताकतवर है कि आईएएस, आईपीएस अफसरों को गिरफ्तार करने से नहीं चूकती। छत्तीसगढ़ में ईओडब्लू को कभी मजबूत करने का प्रयास नहीं किया गया। मुकेश गुप्ता के समय भी नहीं। कई अफसरों के खिलाफ अभियोजन स्वीकृति की फाइल भेजने में सिस्टम रोड़ा बनकर सामने खड़ा हो गया।

भ्रष्टाचार का दलदल

फिलहाल, भ्रष्ट अफसरों ने छत्तीसगढ़ में अति मचा दिया है। उपर से लेकर नीचे तक होड़ मची है। चाहे आईएएस, आईपीएस, आईएफएस हो या फिर नीचे का मुलाजिम, बिना पैसे का काम नहीं होगा। पिछले पांच साल में तो कोई रेट भी नहीं रहा। जितना मांग दिए, उतना देना होगा। बिना पैसे का काम होना छत्तीसगढ़ में मुमकिन नहीं। अनुकंपा नियुक्ति और चाइल्ड केयर लीव के लिए अगर पैसा नहीं दिए तो बड़े बाबू फाइल आगे नहीं बढ़ाएगा। स्कूल शिक्षा विभाग में डीईओ, बीईओ इसी में पैसा कमा रहे क्योंकि वहां वौल्यूम ज्यादा है।