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नक्सलियों को CM विष्णु देव साय ने हथियार छोड़ने की दी नसीहत…कहा- उनकी उचित मांगों को पूरा करेगी सरकार…पढ़ें पूरी समाचार


जगदलपुर :- मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने नक्सलियों को हथियार छोड़ने की नसीहत दी है। उन्होंने कहा कि नक्सली हथियार छोड़कर सरकार से संवाद करें, सरकार उनकी उचित मांगों को पूरा करेगी।

दरअसल, राह भटक कर नक्सल संगठन में शामिल हो चुके भाई-बहन मुख्यधारा में लौटकर सामान्य जीवन व्यतीत करें। छत्तीसगढ़ सरकार की योजनाओं का लाभ स्वयं लें और अपने परिवार को दिलाएं।

आगे मुख्यमंत्री ने कहा कि मैं आदिवासी समुदाय से हूं और आदिवासियों की भावना और दर्द को समझता हूं। इसलिए वामपंथी ताकतों के बहकावे में न आकर सरकार से सीधा संवाद करें और यह बताएं कि वे क्या चाहते हैं। अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर सीएम साय दंतेवाड़ा के जावंगा स्थित आडिटोरियम में नक्सल मोर्चे पर तैनात ‘बस्तर फाइटर्स’ की महिलाओं से संवाद कार्यक्रम में शामिल हुए।

फिलहाल, सीएम ने कहा कि बस्तर की महिला शक्ति के मध्य आना उनका सौभाग्य है। बस्तर की वीरांगनाएं विपरीत परिस्थितियों में भी समाज और देश की रक्षा के लिए डटी हुई हैं। उन्होंने कहा कि बस्तर फाइटर्स, दंतेश्वरी फाइटर्स, सीआरपीएफ सहित सुरक्षा बल पूरी दक्षता के साथ अपनी महत्वपूर्ण सेवाएं दे रहे हैं। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर महिला पुलिस जवानों से उनके संघर्षों और वीरता की गाथा सुनकर उनका उत्साहवर्धन किया।

महिला कमांडो से किया संवाद

ज्ञात हो कि, मुख्यमंत्री ने महिला कमांडों से संवाद करते हुए कहा कि जब एक महिला शिक्षित होती है तो पूरा परिवार शिक्षित होता है। इस दौरान नारायणपुर की महिला कमांडो सुमित्रा साहू ने मुख्यमंत्री को बताया कि वह 14 वर्ष तक नक्सल संगठन में रही। संगठन में महिलाओं की स्थिति दयनीय है। भोजन, कपड़े, दवा की कमी रहती है। खाने, पीने, सोने का कोई ठिकाना नहीं रहता। हमेशा भय बना रहता है कि कब पुलिस की गोली से मौत हो जाएगी। इन्हीं कारणों से संगठन छोड़कर मुख्यधारा में लौट आई।

राजकुमारी यादव ने बताया कि उनके पिता कम उम्र में शादी करवा रहे थे, इसलिए घर छोड़कर नक्सली बन गई। संगठन में होने वाले भेदभाव और खराब स्थिति की वजह से आत्मसमर्पण कर सुरक्षा बल में सम्मिलित हो गई। बस्तर फाइटर्स की दल कमांडर सुनैना पटेल ने बताया कि कमांडो के रूप में नक्सल मोर्चे पर अपनी गर्भावस्था के दौरान सातवें महीने तक जंगल में गश्त किया।

दरअसल, केन्द्रीय मंत्री स्मृति इरानी से भी प्रशंसा मिली। नक्सली मुठभेड़ में महत्वपूर्ण भूमिका के लिए आउट आफ टर्न पदोन्नति भी मिली है। दंतेश्वरी फाइटर्स की सैलेंद्री ने बताया कि वह दो बच्चों की मां है। वर्दी के आकर्षण के चलते वह सुरक्षा बल में सम्मिलित होने के लिए प्रेरित हुई। इसमें दो बार असफल रहने के बाद तीसरे प्रयास में वह कमांडो बन पाई तब जाकर संतुष्टि मिली।

मुख्यमंत्री ने यह प्रमुख घोषणाएं की

– बस्तर के सभी जिला मुख्यालयों में मां दंतेश्वरी शक्ति केंद्र।

– कारली में शहीद स्मारक और अमर वाटिका।

– जवांगा एजुकेशन हब को उच्च सुविधायुक्त और स्पोर्ट सिटी के रूप में विकसित किया जाएगा।

– पालनार, बड़ेगुडरा में 100 -100 सीटर कन्या छात्रावास, समेली।

– मड़कामिरास में 25-25 सीटर प्री मैट्रिक, जंगमपाल और मारज़ूम में 50-50 सीटर छात्रावास।

– अरनपुर, रोंजे और गंजेनार में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र।

– संभाग के सात जिले में दो-दो उप स्वास्थ्य केंद्र।

– दंतेवाड़ा के फागुन मड़ई के लिए 10 लाख रुपये।

कवर्धा में 118 करोड़ के विकास कार्यों का शिलान्यास

फिलहाल, मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने शुक्रवार को कवर्धा में 118 करोड़ रुपये के विकास कार्यों की आधारशिला रखी। उन्होंने ग्राम कुरुवा में आयोजित सामाजिक सम्मेलन में 154 कार्यों का लोकार्पण और शिलान्यास किया। इस दौरान उन्होंने मछली पालन करने वालों और उद्यानिकी में बेहतर प्रदर्शन करने वालों का सम्मान भी किया। इन विकास कार्यों में नहर चौड़ीकरण और अन्य विकासोन्मुखी कार्य शामिल हैं। इस दौरान मंच से मुख्यमंत्री ने लोगों को महाशिवरात्रि की शुभकामनाएं भी दी।